विटामिन D3 की जांच क्यों कराई जाती है?

1. विटामिन D की कमी का पता लगाने के लिए:


आजकल बहुत से लोग धूप में कम जाते हैं, ज़्यादातर समय घर के अंदर रहते हैं या संतुलित आहार नहीं लेते, जिससे विटामिन D3 की कमी हो जाती है।
जांच से यह पता चलता है कि शरीर में (vitamin D3) की मात्रा कम है या नहीं।

2. हड्डियों की मजबूती के लिए:


विटामिन D3 शरीर में कैल्शियम को सोखने में मदद करता है।
अगर इसकी कमी हो जाए, तो हड्डियाँ कमजोर हो सकती हैं और रोग जैसे (osteopenia/osteoporosis,)         ऑस्टियोपोरोसिस या हड्डियों में दर्द हो सकते हैं।
इसलिए डॉक्टर यह जांच कराते हैं ताकि हड्डियों की स्थिति का अंदाजा लगाया जा सके।

3. कुछ बीमारियों का खतरा जानने के लिए:


विटामिन D3 की कमी से डायबिटीज, दिल की बीमारी, और प्रतिरक्षा प्रणाली (इम्यून सिस्टम) कमजोर हो सकती है।
इसकी जांच करवा कर यह देखा जाता है कि आपको इन बीमारियों का खतरा तो नहीं है।

4. दवा या सप्लीमेंट का असर देखने के लिए:


अगर आप पहले से विटामिन D3 की गोली या सप्लीमेंट ले रहे हैं, तो जांच से यह देखा जाता है कि आपकी हालत में सुधार हो रहा है या नहीं।
जांच से डॉक्टर यह भी तय करते हैं कि डोज़ सही है या बदलनी चाहिए।

5. शरीर में फैट-सॉल्युबल विटामिन के स्तर का पता लगाने के लिए:


विटामिन D एक फैट-सॉल्युबल (वसा में घुलने वाला) विटामिन है।
अगर आपको लीवर या किडनी से जुड़ी कोई बीमारी है, तो यह विटामिन ठीक से काम नहीं करता।
इसलिए जांच ज़रूरी हो जाती है।     


                                                                                                               Dr. SAIFAN ALAM


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